मुख्य सचिव आनंद बर्द्धन ने ली सचिव समिति की बैठक,01 मई से विभागों में अनिवार्य रूप से बायोमेट्रिक उपस्थिति दर्ज कराने के दिए निर्देश

बदलता गढ़वाल न्यूज,
देहरादून।

मुख्य सचिव आनंद बर्द्धन ने आज सचिवालय में सचिव समिति की बैठक ली। इस दौरान मुख्य सचिव ने सभी अधिकारियों को 01 मई, 2025 से स्वयं एवं अपने अधीनस्थ विभागों में अनिवार्य रूप से बायोमेट्रिक उपस्थिति दर्ज कराने के निर्देश दिए। मुख्य सचिव ने कहा कि प्रत्येक विभाग अपने विभाग के 05 से 10 महत्वपूर्ण आउटकम निर्धारित करें एवं योजना के अनुरूप कार्य करें।

मुख्य सचिव ने सभी विभागों को निर्देश दिए कि जनहित एवं राज्यहित में आवश्यक, महत्त्वपूर्ण
एवं प्राथमिकता वाले लगभग 10-10 प्रस्तावों/योजनाओं/कार्यों की सूची (Shelf of projects)
तैयार किए जाएं। उन्होंने कहा कि Plinth Area Rates के आधार पर उनकी अनुमानित लागत
का विवरण देते हुए, नियोजन विभाग को तथा उसकी प्रतिलिपि मुख्य सचिव कार्यालय को उपलब्ध करायी जाए।

मुख्य सचिव ने कहा कि मुख्य सचिव स्तर पर बैठक तभी प्रस्तावित की जाय, जब प्रकरण नीतिगत हो अथवा अन्तर्विभागीय हो अथवा प्रस्ताव As per rules of business हो अथवा कई विभागों से सम्बन्धित हो या इसका प्रभाव कई विभागों पर पड़ने की सम्भावना हो। उन्होंने कहा कि सामान्य प्रकरणों पर विभाग के स्तर से ही निर्णय लिया जाए। मुख्य सचिव स्तर पर पत्रावली प्रेषित करते समय किन-किन बिन्दुओं पर निर्णय होना है तथा इनके विकल्प क्या-क्या हैं, आदि का भी अनिवार्य रूप से उल्लेख किया जाए। उन्होंने सभी विभागों को अपनी-अपनी विभागीय परिसम्पत्तियों की सूची Government Assets inventory पोर्टल पर अपलोड किए जाने के भी निर्देश दिए।

सीएस ने सभी सचिवों, अपर सचिवों तथा वरिष्ठ अधिकारियों को अनिवार्य रूप से क्षेत्रीय भ्रमण पर जाने एवं अपने भ्रमण कार्यक्रम का व्यापक प्रचार-प्रसार करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि सभी अधिकारी भ्रमण के दौरान जनपदों में गतिमान विभिन्न कार्यों का स्थलीय निरीक्षण भी करें। अन्य अधिकारी अपने मुख्यालय में उपस्थित रहे, ताकि राजकीय कार्यों के निर्वहन में असुविधा से बचा जा सके। उन्होंने सभी अधिकारियों को अपने अधीनस्थ विभागों का Annual Work Calendar बनाये जाने के भी निर्देश दिए, ताकि सभी कार्यों को समयबद्ध तरीके से बिना विलम्ब किये संपन्न कराया जाना सम्भव हो सके।

मुख्य सचिव ने सभी सचिवों को निर्देश दिए कि जिन विभागों में ई-ऑफिस के माध्यम से अभी तक कार्य आरम्भ नहीं किया गया है, उन सभी विभागों को शीघ्र ई-ऑफिस के माध्यम से कार्य कराया जाए। सभी सचिव एवं विभागाध्यक्ष स्वयं इसकी समीक्षा करते हुए अपने अधीनस्थ कार्यालयों में शीघ्र ई-ऑफिस के माध्यम से कार्य लागू कराएं। उन्होंने कहा कि ई-ऑफिस के माध्यम से सक्षम स्तर से किसी भी शासनादेश पर अनुमति के उपरान्त सम्बन्धित पोर्टल पर उस शासनादेश को अपलोड किये जाने हेतु व्यवस्था सुनिश्चित की जाय।

इस अवसर पर सचिव, सूचना प्रौद्योगिकी द्वारा Digital Uttarakhand Portal के सम्बन्ध में प्रस्तुतीकरण किया गया। उन्होंने बताया कि इसके माध्यम से अधिकारियों को विभिन्न Portal/Applications के लिए Single Sign-in की सुविधा प्राप्त हो सकेगी तथा नागरिकों को एक ही Portal के माध्यम से विभिन्न विभागों द्वारा प्रदान की जाने वाली विभिन्न नागरिक सेवाओं के लिये Log-in की सुविधा प्राप्त हो सकेगी। यह पहल राज्य को Digital रूप से सक्षम बनाकर समावेशी एवं प्रभावी सेवा वितरण सुनिश्चित करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम होगा।

इस दौरान बैठक में प्रमुख सचिव श्री आर. के. सुधांश, श्री एल. फैनई, श्री प्रदीप पन्त, विशेष प्रमुख सचिव श्री अमित कुमार सिन्हा, सचिव श्री नितेश कुमार झा, श्री रविनाथ रामन, डॉ. पंकज कुमार पाण्डेय, डॉ. रंजीत कुमार सिन्हा, डॉ. वी. षणमुगम, डॉ. आर. राजेश कुमार, डॉ. नीरज खैरवाल, श्री दीपेन्द्र कुमार चौधरी, श्री विनोद कुमार सुमन, श्री दीपक कुमार, श्री सी. रविशंकर, श्री युगल किशोर पंत, श्री रणवीर सिंह चौहान, श्री धीराज सिंह गर्ब्याल एवं अपर सचिव श्री विजय कुमार जोगदण्डे उपस्थित रहे।

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