आस्था: बिजराकोट के रावल देवता की देवरा यात्रा पहुंची कपीरी पट्टी के किमोली गांव, सिद्धपीठ लक्ष्मीनारायण के दर्शन कर की भेंट।
बिजराकोट के रावल देवता की देवरा यात्रा पहुंची कपीरी पट्टी के किमोली गांव, सिद्धपीठ लक्ष्मीनारायण के दर्शन कर की भेंट।
कर्णप्रयाग/चमोली।
प्रदीप रावत।
22 नवंबर से शुरू हुई बिजराकोट के आराध्य देव रावल देवता की छह माह की देवरा यात्रा सैकड़ों गांवों का भ्रमण करने के बाद सोमवार को कपीरी पट्टी के किमोली गांव पहुंची। जहाँ ग्रामीणों ने रावल देवता के जयकारों के साथ देवरा यात्रा का भव्य स्वागत किया। रावल देवता ने सबसे पहले सिद्धपीठ लक्ष्मीनारायण भगवान के दर्शन कर उनसे भेंट की। उसके बाद ग्रामीणों की कुशल क्षेम पूछ कर भक्तों को अपना आशीष वचन दिया। इसके बाद अपने आगे के गांवों का भ्रमण करते होते हुऐ कपीरी पट्टी के अन्य गांवों से होकर चांदपुर गढ़ी से सिरण, झिरकोटी, बमोथ, गडूना, रानों होते हुऐ बैंसौड़ चमसील और 04 जून को गौचर – सारी के नजदीक अलकनंदा नदी में समुद्र मंथन होगा।
रावल देवता की देवरा यात्री सुनील पंवार ने बताया कि 22 नवंबर से शुरू हुई रावल व लाटू देवता की देवरा यात्रा 20 मई को छह माह पूरे होने पर रावल देवता के मूल स्थान बिजराकोट में नौ दिनों तक चलने वाले भागवत महापुराण यज्ञ का आयोजन किया जाएगा। जिसके बाद रावल व लाटू देवता अपने स्थान पर विराजमान हो जायेंगे। भागवत महापुराण यज्ञ के दौरान भक्त जन दर्शनार्थियो के उपलक्ष्य में विशाल भंडारे का आयोजन करने को उत्सुक हैं।